Saturday 10 December 2011

लड़कियाँ भी करती है - फ्लर्ट


अक्सर समझने में धोखा खा बैठता है पुरुषों का दिमाग और समझ बैठते हैं दोस्ताना अंदाज
फ्लर्ट करने में महिलाएं भी कुछ कम नहीं होतीं। अगर पुरुषों से ज्यादा नहीं तो कम से कम इतना तो जरूर करती हैं-कभी लटों को उमेठना तो कभी आंखों में आंखें डालना या फिर मादक मुस्कान बिखेरना। लेकिन फ्लर्ट करने वाली महिलाएं जान लें, इससे कुछ हासिल होने वाला नहीं है।
एक अध्ययन में यह दावा किया गया है। इस अध्ययन के बाद वैज्ञानिक इस नतीजे पर पहुंचे हैं कि महिलाओं की चालाकी भरी अदाओं के प्रति पुरुष तकरीबन अंधे होते हैं। महिलाओं की अधिकांश मादक या कामुक अदाओं को समझने में वे भूल कर बैठते हैं, उसे दोस्ती का अंदाज समझ बैठते हैं।
शोधकर्ताओं के मुताबिक महिलाएं यौनेच्छा की अभिव्यक्ति के प्रति उतावली नहीं हुआ करतीं। लेकिन दुखद यह है कि अपनी यौन रुचियों को लेकर महिलाओं के गैर शाब्दिक संकेतों को भी नौजवान पुरुषों का दिमाग पढ़ नहीं पाता। 'वह मुझे चाहती है' जैसे पहलू को स्वीकारने के बजाय पुरुष प्राय: महिलाओं के संकेतों को लेकर बुरी तरह उलझ जाते हैं।
अपने शोध के दौरान वैज्ञानिकों ने तीन सौ अंडर ग्रेजुएट छात्र-छात्राओं पर अध्ययन किया। इन सभी को महिलाओं की तस्वीर दिखाई गई। उसे दोस्ताना, यौन आकर्षण, दुखी या नापसंद के तौर पर श्रेणीबद्ध करने के लिए कहा गया। प्रत्येक छात्र को 280 तस्वीरों से रूबरू कराया गया।
सटीक निष्कर्ष के मामले में छात्रों की संख्या छात्राओं से काफी कम थीं। खासकर खुशगवार, दोस्ताना और कामुक अंदाज का आकलन करने में। छात्रों ने महिलाओं की यौनेच्छा से संबंधित संकेतों को समझने में आमतौर पर भूल की और उसे दोस्ताना करार दिया। इसके विपरीत दोस्ताना अंदाज को अश्लील माना।

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